Tuesday, May 24, 2016

313. सारी सारी रैन

उड़न खटोले
गगन टटोले
सारी सारी रैन

उड़े और कोसे
चाँद परोसे
सारी सारी रैन

रैन पे टीका लगैयो
किसीकी नजर न लगे

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नैन कटोरे
रैन बटोरे
सारी सारी रैन

सपने निगोडे
बदन निचोड़े
सारी सारी रैन

किसीको कभी न बतैयो
किसीको खबर न लगे

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Sometimes rambling is ok.
Randomly hummed this in the shower today. So well... 

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